Anam

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कबीर दास जी के दोहे


पढ़ी गुनी पाठक भये, समुझाया संसार
आपन तो समुझै नहीं, वृथा गया अवतार।। 

अर्थ :


कबीरदास जी कहते हैं कि कुछ लोग बहुत पढ़-लिखकर दूसरों को उपदेश देते हैं लेकिन खुद अपनी सीख ग्रहण नहीं करते। ऐसे लोगों की पढ़ाई और ज्ञान व्यर्थ है।

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